Thursday, July 26, 2018

GRAHANA (ग्रहण)

खग्रास चन्द्र ग्रहण ( केतु ग्रस्त )
शके 1940  विलंबीनाम संवत्सरे आषाढ शुक्ल पौर्णिमा शुक्रवार दिनांक 27/28-07-2018
ग्रहण गोचरिसुव प्रदेशगळु : भारतसहित संपुर्णएसिया खण्ड, युरोप, आफ़्रिका खण्ड, दक्षिण
अमेरिका, रसिया, आस्ट्रेलिया, न्यूझील्याण्ड, फ़सिफ़िक महासागर, हिन्दी महासागर,
अटलान्टिक महासागर
ग्रहणस्पर्श
सम्मिलन
ग्रहणमध्य
उन्मिलन
ग्रहण मोक्ष
27/07/2018  
28/07/2018  
28/07/2018  
28/07/2018  
28/07/2018  
23:55
01:00
01:52
02:44
03:50
             ग्रहण पर्व पुण्यकाल: 03 गं 55 निमिषगळ वरेगे
वेधारंभ(सूर्यसिद्धान्त) 09:17 (दृग्गणित) 12 :45  अनुकूलदप्रकार वेध पालिसबहुदु
बाल,अस्वस्थ,रोग पीडित,अशक्तव्यक्ति,गर्भवतीस्त्रियरुइ केळगिनन्ते (सूर्यसिद्धान्त) शुक्रवार 21:15 (दृग्गणित)शुक्रवार 17:30 वरेगे अनुकूलदप्रकार वेध पालिसबहुदु 
वेधारंभद ओळगागिये भोजनवन्नु माड बेकु, तद नन्तर
आहार स्विकरिसबारदु. वेधकालदल्ली स्नान, देवपूजे,
नित्यकर्मानुष्ठान, जपजाप्य, श्राद्धगळन्नु माडबहुदु.
वेधकालदल्ली इतर आवश्यक नीरु कुडीयुवुदु, मलमूत्रोत्सर्ग, निद्रे माडबहुदु. ग्रहण पर्वकालदल्ली निद्रे अभ्यङ्ग, तिन्नुवुदु, कुडियुवुदु, मलमूत्रोत्सर्ग, कामसेवने वर्ज. ग्रहण कालदल्ली सूतकविद्दरे ग्रहण संबन्धित स्नान दानगळ मट्टिगे शुद्धि इरुवुदु.  ग्रहण स्पर्शवाद कूडले स्नान माडबेकु पर्वकालदल्ली देव पूजे तर्पण श्राद्ध जप होम दानादिगलन्नु माडबहुदु. इ मोदलु सिद्धिसिकोण्ड मन्त्रगळ पुरश्चरण ग्रहण पुण्यकालदल्ली माडबेकु
मकर राशि, श्रवण नक्षत्र दल्ली हुट्टिदवरिगे विशेष अनिष्ट, अवरु श्क्त्यानुसार दान माडुवुदु
शुभ फ़ल
मेष सिंह वृश्चिक मीन
मिश्र फ़ल
वृषभ कर्क कन्या धनु
अशुभ फ़ल
मिथुन तुला मकर कुंभ
 अशुभ फ़लविरुववरु, गर्भिणियरु ग्रहणवन्नु नोडदे इरुवुदु उत्तम, फलाफलगळु 3 तींगळुगळ वरेगे                 ग्रहणवन्नु पौराणिक हिन्नेलेयिन्द नोडिदरे : देवासुररु समुद्र मन्थन माडिदाग 14 रत्नगळु दोरेतवु अवुगळल्ली अमृतवु ओन्दु अमृतवन्नु देवरू असुररु समनागी हन्चिकोळ्ळुवुदेन्दु तिर्मानवायितु एल्लरिगु सरदियन्ते अमृतवन्नु आपोषण हाकलु महा विष्णुवु मोहिनी रुपदल्ली अमृत कोडुत्त होगलु उळियुवुदो इल्लवो एन्दु राहुवु सूर्य चन्द्रर नडुवे बन्दु कुळितुकोण्ड. इन्नेनु कैयल्ली हाकिद अमृतवन्नु राहुवु प्राशन माडुत्तिरिवष्टरल्ली सूर्य चन्द्ररु नम्मिब्बर मध्यद व्यक्ति देवतेगळ पन्गडक्के सेरिदवनु अल्लएन्दु तिळिसुवुदोन्दे तड विष्णुवु सुदर्शनदिन्द राहुविन तले हारिसिदनु, केवल तले इद्द व्यक्ति राहु, केळ भागवष्टे इद्दद्दु केतु, सुर्यन मेले राहुविगे कोपविद्दरे केतुविन कोपवु चन्द्रन मेले आदरु असुरनिद्दरु अमृत प्राशन माडीद कारण राहु केतुगळु नवग्रहगळल्ली सेर्पडेयादरु. इदे ग्रहणगळ मूल. सूर्य ओन्दु नक्षत्र, राहु केतुगळु नवग्रहगळल्ली सेर्पडेयादवरु, चन्द्र उपग्रह, ग्रहगळु मूलदल्ली 6, आद्दरिन्द ग्रहाणगळिन्द गाबरिपडबेकाद अवश्यकते इल्ल. उत्तरध्रुव दक्षिणध्रुवगळु हेगो हागे पन्चान्गद कुण्डलिगळल्ली राहु केतुगळु छेद बिन्दुगळन्ते वोन्दक्कोन्दु विरुद्ध दिशेयल्लिरुत्तवे.
           ग्रहणवन्नु खगोल शास्त्रद हिन्नेलेयिन्द नोडिदरे : उपग्रहवाद चन्द्रनु तन्न मैसुत्तु तिरुगदे ओन्दे मुखविरिसि तन्नदेआद गतियल्ली पृथ्विय सुत्तु तिरुगुवनु. पृथ्वियु तन्न सूत्तलु तिरुगुत्त सुर्यनिगे प्रदक्षिणे हाकुवुदु, इब्बर भ्रमणगतियु भिन्नवागिद्दु हीगेये सुत्तुत्त सुत्तुत्त सूर्य पृथ्विय नडुवे चन्द्र ओन्दे सरळ रेषेयल्लि बन्दाग अवन नेरळु पृथ्वियमेले बिळुत्तदे आ नेरळु पृथ्विय याव भागदल्ली बिळुत्तदो अष्टे भागवु सूर्य बिम्ब मुच्चिदन्ते पृथ्विय मेलिद्दवरिगे कणिसुवुदु, इदु सूर्य ग्रहण. इ रीति केवल अमावास्येगे मात्र संभविसुवुदु. पुर्णभाग मुच्चदे स्वल्प भाग मुच्चिद्दादरे खण्ड ग्रासवेन्तलु, पुर्णभाग मुच्चिद्दरे खग्रास वेन्तलु आ नेरळु सुर्यन मध्यभागवष्टे मुच्चिदन्तिद्दरे कन्कणाकृतियेन्तलु अन्नुत्तारे.
          सूर्य मत्तु चन्द्रन नडुवे पुथ्वियु ओन्दे सरळ रेषेयल्लि बन्दु पुथ्विय नेरळु चन्द्रन मेले बिद्दाग पृथ्विय मेलिद्दवरिगे चन्द्रनु मन्द केम्पागी ताम्रद तयन्ते काणिसुत्ताने, इदु चन्द्र ग्रहण, इ स्थिति केवल पौर्णिमेगे मात्र संभविसुवुदु. प्रुथ्विय नेरळल्ली पूर्ण चन्द्रनु बन्दिद्दादरे खग्रासवेन्तलु, प्रुथ्विय केल भागदमेले नेरळु बिद्दिद्दादरे खण्डग्रासवेन्तलु अन्नुत्तारे. ग्रहणगळेल्ल मुलभूतवागी तन्नष्टक्के तानु नडेयुव खगोल शास्त्रद विद्यमानगळु, राहु केतु एंब ग्रहागळु, आकाश कायगळु खगोल शास्त्रदल्ली काणबरुवुदिल्ल.
         खगोलीयविद्यमानगळिन्द प्रुथ्विय मेलिन पन्चमहाभूतगळेन्दु अन्निसिकोण्ड नीरु, गाळि, उष्णतेगळ मेले परिणाम काणबरुवुदेन्दु गोत्तागिदे, अदे रीति मनुष्य प्राणियमेलु आगबहुदेम्ब भीतीय कारणक्कागी, विषद परिक्षे माडुवुदे बेडवेन्दु इरुव आतन्कक्के अवकाशविरबहुदु. भयपडुव,भयपडद मनस्थ्तितिये इदेल्लक्कू मूल कारणवागिरुवुदु.  धन्यवादगळु.


    

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